हिंद स्वराष्ट्र फिरोज अंसारी : पिछले कुछ दिनों पहले पड़ोसी राज्य झारखंड में ईडी ने आईएएस पूजा सिंघल के लगभग आधा दर्जन ठिकानों पर अपनी दबिश दी और इसमें जो आउटकम निकला उसे देख कर पूरा देश अचंभित रह गया आखिरकार आईएएस पूजा सिंघल के घर इतना कैश रकम कहां से आया? पूजा सिंघल के घर पर आखिर ₹250000000 कैश कहां से आए और तो और सीए के पास भी 17 करोड़ आखिर इतने पैसे आए तो आए कहां से देशवासी भी देखकर हैरान है।
प्रश्न यह नहीं है कि महिला आईएएस के पास आखिर नोटों का जखीरा आया कहां से सवाल यह है कि क्या आईएएस की नौकरी सिर्फ पैसे कमाने के लिए है?
छत्तीसगढ़ में भी पिछले कई सालों से कुछ अलग नहीं हुआ है कई आईएएस और कई आईपीएस अधिकारी दो –दो और 3 – 3 सौ के आसामी बन गए यदि राज्य सरकार रिकॉर्ड सर्च करा ले तो राजधानी रायपुर के आसपास 50% लैंड नौकर साहों के या तो रिश्तेदारों या नौकर चाकर के नाम से मिल ही जाएंगे… इनमें महिला आईएएस भी पीछे नहीं।
ठीक है यूपीएससी की परीक्षा कठिन परीक्षा होती है इतना मेहनत कर सर्वोच्च नौकरी मिली है तो औरों से ज्यादा तो बनता है मगर आखिर कितना यदि सेल्फ लिमिट तय नहीं करेंगे तो आईएएस पूजा सिंघल जैसा ही होगा अब तो हालात पहले जैसा नहीं है इनकम टैक्स वाले एक आईएएस का लिहाज तो करते थे मगर अब ई डी युग है तो रिश्वतखोरी की हवस को कम करें।